पंडित की हार

पंडित की हार

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एक दिन एक पुजारी सोने की चूड़ियों से भरी कलाई लेकर अकबर के दरबार में आया और अकबर को चुनौती दी। उसने सुझाव दिया कि वह अकबर के दरबार के रईस से सवाल पूछेगा और अगर वह हार गया, तो दुनिया भर के महान लोगों से उसने जो भी चूड़ियाँ इकट्ठी की हैं, वे अकबर की हो जाएँगी, लेकिन अगर वह जीत गया, तो अकबर को उसे एक और सोने की चूड़ियाँ देनी होंगी। चुनौती का सामना करने के लिए बीरबल को बुलाया गया और पुजारी ने उससे सवाल पूछना शुरू किया। पुजारी ने बीरबल से पहला सवाल पूछा - आमतौर पर हमारा दिमाग हमारे सिर में होता है, लेकिन यह कब चला जाता है? बीरबल ने कहा बुढ़ापे में। अगला सवाल था कि शर्म कब आपकी आँखों से जाती है? बीरबल ने कहा कि ऐसा तब होता है जब आप कुछ गलत करते हैं। अगला सवाल था कि बहादुरी कब जाती है? बीरबल ने सुझाव दिया कि जब हम किसी चीज़ से डरते हैं। अंतिम सवाल था कि शक्ति हमारे शरीर से कब जाती है? तब बीरबल ने सुझाव दिया कि ऐसा बुढ़ापे में होता है जब हम अपने काम खुद करने में असमर्थ होते हैं। पुजारी समझ गया कि वह हार गया है इसलिए उसने अपनी सारी चूड़ियाँ अकबर को दे दीं और चला गया।